प्रयागराज: मंत्रियों, सांसदों और विधायकों के खिलाफ दर्ज होने वाले आपराधिक मुकदमों की शीघ्र सुनवाई के लिए प्रदेश के 62 जिलों के जिला न्यायालयों में स्पेशल कोर्ट गठित की गई है। जबकि प्रयागराज में गठित स्पेशल कोर्ट में अब केवल 12 जिलों के जनप्रतिनिधियों के मामलों की सुनवाई होगी। यहां प्रयागराज के साथ वाराणसी, चंदौली, सोनभद्र, मीरजापुर, आजमगढ़, गाजीपुर, मऊ, भदोही, कौशांबी, बलिया व जौनपुर जिलों में जनप्रतिनिधियों पर दर्ज मुकदमों की सुनवाई होगी।
हाईकोर्ट प्रशासन ने इन 62 जिलों में वहां के माननीयों के खिलाफ आपराधिक मुकदमों की सुनवाई के लिए स्पेशल कोर्ट एमपी/एमएलए के गठन की अधिसूचना जारी कर दी है। सुप्रीम कोर्ट ने अश्वनी उपाध्याय की याचिका पर माननीयों के खिलाफ विचाराधीन आपराधिक मामलों के शीघ्र सुनवाई व निस्तारण के लिए स्पेशल कोर्ट गठित करने का आदेश दिया था। उसी के अनुपालन में प्रयागराज में स्पेशल कोर्ट का गठन किया गया था।
अभी तक प्रदेश भर के माननीयों के खिलाफ लंबित आपराधिक मामलों की सुनवाई प्रयागराज में गठित स्पेशल कोर्ट एमपी/एमएलए में हो रही है, लेकिन इस अधिसूचना के बाद अब माननीयों के अपराधिक मामलों की सुनवाई अब संबंधित जिलों में गठित विशेष अदालत में हो सकेगी।